Friday, May 27, 2016

दस्त को चुटकी में बंद करने वाला रामबाण प्रयोग।

कैसे भी प्रबल पानी की भाँती नदी के समान भी अगर दस्त हों, तो भी ये रामबाण नुस्खा इतना कारगार है के चुटकी बजाते बिना दवा खाए भी सब सही कर देगा। ज़रूर पढ़ें।

प्रथम नुस्खा। हर प्रकार के दस्त बंद करने के लिए।
सूखा आंवला दस ग्राम और काली हरड़ पांच ग्राम दोनों को लेकर खूब बारीक पीस लें। फिर एक एक ग्राम की मात्रा से प्रात: सांय पानी के साथ फांके। हर प्रकार के दस्त बंद करने के लिए अत्यंत सरल और अचूक औषिधि है। तीन चार मात्राओं के सेवन से रोगी को बिलकुल आराम आ जाता है तथा इससे आमाशय को भी बल मिलता है।

दूसरा नुस्खा – पतले दस्त के लिए।
आधा कप उबलता हुआ गर्म पानी लें। इसमें एक चम्मच अदरक का रस मिलाएं। और जितना गर्म पी सकें चाय की तरह, उतना गर्म पी लें। इस तरह एक एक घंटे में एक एक खुराक लेते रहने से पानी की तरह हो रहे पतले दस्त बंद हो जाते हैं।

तीसरा नुस्खा – प्रबल पानी की भाँती नदी के वेग के समान दस्त।
30 ग्राम या आवश्यकतानुसार सूखे आंवले को पानी में खूब बारीक पीस लें और लुगदी (चटनी) बना लें। रोगी को चित्त लेटा दें। रोगी की नाभि के चारों और उस लुगदी का कुंआ सा गोलाकार घेरा बना दें। नाभि बीच में खाली रहे। इस घेरे में तुरंत अदरक का रस भर दें और रोगी को 15-20 मिनट चित्त लेटा रहने दें। इस क्रिया से बिना औषिधि खाए भयंकर से भयंकर अत्यंत प्रबल पानी की भाँती और न रुकने वाले नदी के वेग के समान तथा समुद्र के समान हिलोरे मारते दस्त भी रुक जाते हैं।

अगर आंवले न हो तो आटे की लुगदी बना कर उसमे अदरक का रस भरें।
कई बार खाना खाने के तुरंत बाद पेट ख़राब हो जाता है और शौच जाना पड़ता है ऐसा कमज़ोर पाचन क्रिया या इर्रिटेबले बाउल सिंड्रोम की वजह से या अन्य कारणों से हो सकता है। ऐसे में ये उपाय रामबाण है। आइये जाने।

पहला नुस्खा।
100 ग्राम सूखे धनिया पीसकर इस में 25 ग्राम काला नमक पीसकर मिलाकर रख ले। भोजन के बाद दो ग्राम (आधा चम्मच) की मात्रा फांककर ऊपर से पानी पी ले। आवश्यकता अनुसार निरंतर एक-दो सप्ताह लेने से खाने के बाद तुरंत पाखाना जाने की आदत छूट जाती है।

दूसरा नुस्खा।
खाने के तुरंत बाद पाखाना आता हो तो भुनी हुई सोंफ और जीरा समभाग का चूर्ण बनाकर रख ले। खाने के बाद एक चम्मच की मात्रा से इस चूर्ण को फांककर ताजा पनी पीना चाहिए। भोजन के बाद केवल भुनी हुई सोंफ चबाने से भी लाभ होता है। दो-तीन सप्ताह ले।

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